एलोहीम परमेश्वर:
पिता परमेश्वर और माता परमेश्वर

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अधिकांश ईसाई परमेश्वर को केवल यहोवा या यीशु अर्थात् पिता परमेश्वर के रूप में जानते हैं, जो परमेश्वर का नर स्वरूप है। लेकिन, बाइबल की शुरुआत, उत्पत्ति अध्याय 1 से, शब्द एलोहीम, जो परमेश्वर को बहुवचन के रूप में संदर्भित करता है, प्रकट होता है। इसका मतलब है कि एक पिता परमेश्वर नहीं, लेकिन दो या उससे अधिक परमेश्वर हैं।

परमेश्वर को ठीक से जानना बहुत जरूरी है; क्योंकि परमेश्वर को जानना सब से बड़ी बुद्धि और समझ है जिस पर उद्धार निर्भर करता है(नीत 9:10; यूह 17:3)। इसलिए बाइबल कहती है कि सभी विश्वासियों को परमेश्वर के ज्ञान को “यत्न से” ढूंढ़ना चाहिए(हो 6:3)। आइए जानें कि बाइबल में एलोहीम परमेश्वर कौन हैं जिन्हें हमें बचाए जाने के लिए निश्चित ही जानना चाहिए।

एलोहीम पिता परमेश्वर और माता परमेश्वर हैं

पुराने नियम ने, जो पवित्र आत्मा से प्रेरित हुए नबियों के द्वारा लिखा गया, परमेश्वर को बहुवचन के रूप में वर्णित किया, न कि एक वचन के रूप में। बाइबल का मूल इब्रानी पाठ में, परमेश्वर को ज्यादातर एलोहीम[बहुवचन परमेश्वर] के रूप में दर्ज किया गया है, जो एल या एलोहा[एकवचन परमेश्वर] का बहुवचन रूप है। आप को आसानी से बताएं, ‘एलोहीम’ ऐसे परमेश्वर को संकेत करता है जो एक से ज़्यादा हैं। एलोहीम शब्द पूरे पुराने नियम में लगभग 2,500 बार प्रकट होता है। सामान्य ज्ञान की दृष्टि से परमेश्वर केवल पिता हैं, यह बहुत बड़ी भूल होगी।

बाइबल वह पुस्तक है जो उद्धारकर्ता परमेश्वर के बारे में गवाही देती है(यूह 5:39)। जब बाइबल में परमेश्वर को बहुवचन रूप में व्यक्त किया जाता है, तब इसका मतलब है कि परमेश्वर एक नहीं बल्कि दो या उससे अधिक हैं।

फिर परमेश्वर[एलोहीम] ने कहा, “हम मनुष्य को अपने स्वरूप के अनुसार अपनी समानता में बनाएं…” उत 1:26

उत्पत्ति की पुस्तक में, परमेश्वर को जिन्होंने आदि में आकाश और पृथ्वी को बनाया, एलोहीम के रूप में वर्णन किया गया है और एलोहीम ने कहा, “हम मनुष्य को बनाएं।” यदि हम सोचते हैं कि परमेश्वर केवल पिता हैं, तब इस आयत को समझना कठिन हैं; क्योंकि तब परमेश्वर को यह कहना चाहिए था, “मैं मनुष्य को अपने स्वरूप के अनुसार अपनी समानता में बनाऊंगा।” इसलिए, “यह कथन बाइबल के व्याख्याकारों के लिए एक पहेली बनकर आया है।”(बाइबल के रहस्य जो हल नहीं हो पाते, रीडस’स डायजेस्ट एसोसिएशन इन्कॉर्पोरेटिड, पृष्ठ 21)।

यदि हम अपने स्थिर विचार को छोड़ दें कि केवल पिता परमेश्वर हैं और बाइबल के अभिलेखों को जैसे वे हैं वैसे ही देखें, तो हम इस पहेली का उत्तर आसानी से प्राप्त कर सकते हैं।

तब परमेश्वर ने मनुष्य को अपने स्वरूप के अनुसार उत्पन्न किया, अपने ही स्वरूप के अनुसार परमेश्वर ने उसको उत्पन्न किया; नर और नारी करके उसने मनुष्यों की सृष्टि की। उत 1:27

परमेश्वर ने, स्वयं को “हम” के रूप में संदर्भित करते हुए, मनुष्यों को अपने स्वरूप और समानता में बनाया। फिर नर और नारी की सृष्टि हुई। इसका मतलब है कि परमेश्वर नर और नारी स्वरूप दोनों में मौजूद हैं। मानवजाति ने परमेश्वर के नर स्वरूप को पिता कहा। तब हमें नारी स्वरूप के परमेश्वर को क्या कहकर बुलाना चाहिए? हमें उन्हें माता कहना चाहिए। एलोहीम परमेश्वर, जिन्होंने सब वस्तुओं की सृष्टि की, दो हैं: पिता परमेश्वर और माता परमेश्वर।

एलोहीम परमेश्वर ने सृष्टि के समय से एक साथ कार्य किया

बहुत सी आयतों में, हम देख सकते हैं कि परमेश्वर “आओ हम” कहते हुए कार्य करते हैं। एलोहीम, पिता परमेश्वर और माता परमेश्वर एक साथ सृष्टि के समय से छुटकारे का कार्य कर रहे हैं।

और यहोवा ने कहा, “मैं क्या देखता हूँ कि सब एक ही दल के हैं, और भाषा भी उन सब की एक ही है, और उन्होंने ऐसा ही काम भी आरम्भ किया; और अब जो कुछ वे करने का यत्न करेंगे, उसमें से कुछ भी उनके लिये अनहोना न होगा। इसलिये आओ, हम उतर के उनकी भाषा में गड़बड़ी डालें, कि वे एक दूसरे की बोली को न समझ सकें।” इस प्रकार यहोवा ने उनको वहाँ से सारी पृथ्वी के ऊपर फैला दिया; और उन्होंने उस नगर का बनाना छोड़ दिया। इस कारण उस नगर का नाम बेबीलोन पड़ा; क्योंकि सारी पृथ्वी की भाषा में जो गड़बड़ी है, वह यहोवा ने वहीं डाली, और वहीं से यहोवा ने मनुष्यों को सारी पृथ्वी के ऊपर फैला दिया। उत 11:6-9

जब नूह के वंशज बाबेल की मीनार का निर्माण कर रहे थे, तब परमेश्वर ने कहा, “आओ, हम उतर के उनकी भाषा में गड़बड़ी डालें।” आयत 9 में, यह लिखा है कि यहोवा परमेश्वर ने भाषा में गड़बड़ी डाली। इसका मतलब है कि भले ही पिता परमेश्वर का नाम प्रतिनिधि के रूप में लिखा था, फिर भी पिता परमेश्वर और माता परमेश्वर ने एक साथ बाबेल की मीनार का निर्माण कार्य रोक दिया।

पिता परमेश्वर और माता परमेश्वर दोनों ने एक साथ नबी को नियुक्त किया और उसे भेजा।

तब मैं ने प्रभु का यह वचन सुना, “मैं किसको भेजूं, और हमारी ओर से कौन जाएगा?” तब मैं ने कहा, “मैं यहां हूं! मुझे भेज।” यश 6:7-8

यहां, “प्रभु का यह वचन” परमेश्वर का वचन है। परंतु, परमेश्वर ने यह नहीं कहा, “मेरे लिए कौन जाएगा?” लेकिन “हमारे लिए कौन जाएगा?” कहा। आकाश और पृथ्वी को बनाते समय, बाबेल की मीनार बनाने से रोकते समय, और नबी को भेजते समय, एलोहीम परमेश्वर ने हमेशा साथ में कार्य किया।

पिता परमेश्वर एलोहीम के प्रतिनिधि हैं

जब हम आदम और हव्वा को देखते हैं, जो परमेश्वर के स्वरूप और समानता में सृजे गए थे, तो हम एलोहीम परमेश्वर को सही ढंग से समझ सकते हैं। ऐसा इसलिए है क्योंकि आदम और हव्वा परमेश्वर की नकल हैं जो वास्तविकता हैं। आदम और हव्वा दो अलग जन हैं, लेकिन कभी-कभी बाइबल उन्हें एक के रूप में वर्णित करती है।

इसलिये जैसा एक मनुष्य के द्वारा पाप जगत में आया… तौभी आदम से लेकर मूसा तक मृत्यु ने उन लोगों पर भी राज्य किया, जिन्होंने उस आदम, जो उस आनेवाले का चिह्न है, के अपराध के समान पाप न किया… जब एक मनुष्य के अपराध से बहुत लोग मरे… रो 5:12-15

यहां, “एक मनुष्य का अपराध” आदम के पाप को संकेत करता है। उत्पत्ति की पुस्तक के अनुसार, वह आदम नहीं था जिसने पहले पाप किया, लेकिन वह हव्वा थी(उत 3:6)। इसलिए इसे इस तरह लिखा जाना चाहिए था, “एक स्त्री हव्वा का अपराध या दो लोगों का अपराध। लेकिन, बाइबल ने केवल आदम के नाम का प्रतिनिधि के रूप में उल्लेख किया। इसका मतलब है कि आदम और हव्वा को एक व्यक्ति के रूप में माना जाता है(उत 2:22-24)।

आदम और हव्वा की वास्तविकता, एलोहीम परमेश्वर के साथ भी ऐसा ही है। भले ही परमेश्वर दो रूप में मौजूद हैं – पिता परमेश्वर और माता परमेश्वर, फिर भी हम कह सकते हैं कि परमेश्वर एक हैं। जैसे कि बाइबल कहती है कि जो काम आदम और हव्वा दोनों ने किया उसे आदम ने अकेले किया, वैसे ही यह कह सकते हैं कि जो पिता परमेश्वर और माता परमेश्वर ने साथ में किया, उस काम को पिता परमेश्वर ने अकेले किया।

वे एलोहीम परमेश्वर को क्यों नहीं जानते?

बहुत लोग परमेश्वर पर विश्वास करने का दावा करते हैं, फिर भी एलोहीम परमेश्वर, पिता परमेश्वर और माता परमेश्वर पर विश्वास करनेवाले को ढूंढ़ना मुश्किल है। ऐसा इसलिए है क्योंकि वे नई वाचा के सत्य में नहीं हैं। बाइबल भविष्यवाणी करती है कि केवल वे जो नई वाचा का पालन करते हैं, परमेश्वर को पूरी तरह से जान सकते हैं।

“फिर यहोवा की यह भी वाणी है, सुन, ऐसे दिन आनेवाले हैं जब मैं इस्राएल और यहूदा के घरानों से नई वाचा बांधूंगा… परन्तु जो वाचा मैं उन दिनों के बाद इस्राएल के घराने से बांधूंगा, वह यह है : मैं अपनी व्यवस्था उनके मन में समवाऊंगा, और उसे उनके हृदय पर लिखूंगा; और मैं उनका परमेश्वर(एलोहीम) ठहरूंगा, और वे मेरी प्रजा ठहरेंगे, यहोवा की यह वाणी है।” यिर्म 31:31-33

परमेश्वर ने कहा कि वह उनके परमेश्वर होंगे जिनके मन में नई वाचा की व्यवस्था समाई है और उसका पालन करते हैं और यह कि वे उनके लोग ठहरेंगे और एलोहीम परमेश्वर को पूरी तरह जानेंगे।

“तब उन्हें फिर एक दूसरे से यह न कहना पड़ेगा कि यहोवा को जानो, क्योंकि, यहोवा की यह वाणी है, छोटे से लेकर बड़े तक, सब के सब मेरा ज्ञान रखेंगे; क्योंकि मैं उनका अधर्म क्षमा करूंगा, और उनका पाप फिर स्मरण न करूंगा।” यिर्म 31:34

जो लोग नई वाचा की व्यवस्था को अपने हृदय में अंकित करते हैं और उसका पालन करते हैं, उन्हें कभी भी “परमेश्वर को जानने” के लिए नहीं कहा जाएगा, क्योंकि छोटे से लेकर बड़े तक वे सभी परमेश्वर को जानते हैं। इसका अर्थ यह है कि परमेश्वर के लोग जो नई वाचा के सत्य में हैं, वे पूरी तरह से एलोहीम परमेश्वर को जानेंगे और उन पर विश्वास करेंगे। परमेश्वर ने कहा कि वह उनके पापों को क्षमा कर देंगे।

पिता के युग में उद्धारकर्ता या पुत्र के युग में उद्धारकर्ता के नाम की गवाही देने वाली आयतों में माता परमेश्वर का अस्तित्व प्रकट नहीं होता। माता परमेश्वर लंबे समय से गुप्त थीं। लेकिन, एलोहीम के रूप में उनका अस्तित्व तब प्रकट हुआ जब परमेश्वर का नियत समय आया। दूसरी बार आने वाले मसीह आन सांग होंग ने नई वाचा के सत्य का प्रकाश चमकाया है, और पिता परमेश्वर और माता परमेश्वर के बारे में स्पष्ट रूप से गवाही दिया है जिसे इस युग में परमेश्वर के लोगों को अवश्य जानना चाहिए।

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